बिहार में गुरुवार को मकर संक्रांति का महापर्व धूमधाम से मनाया जा रहा है. सुबह में नदी घाटों पर स्नान-दान व पूजा के साथ असकी शुरुआत हो चुकी है. पटना सहित पूरे बिहार में में श्रद्धालु गंगा सहित अन्य नदी घाटों पर स्नान कर मंदिरों में पूजा कर तिल से बनी वस्तुओं का दान कर रहे हैं. एहतियातन स्नान के दौरान नदियों में नौका परिचालन पर रोक लगा दी गई है.
नदी घाटों पर पुलिस की तैनाती की गई है. मकर संक्रांति के दिन सूर्य का मकर राशि में प्रवेश के साथ खरमास समाप्त हो गया है. संक्रांति के दिन सूर्य के दक्षिणायन से उत्तरायण होने के साथ खरमास का समापन हो गया है. बनारसी पंचांग के हवाले से ज्योतिषाचार्य पीके युग ने बताया कि 16 दिसंबर से जारी खरमास गुरुवार को अपराह्न 2.05 बजे सूर्य के मकर राशि में प्रवेश के साथ समाप्त हो रहा है.
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दूसरी ओर मिथिला पंचांग के अनुसार सूर्य का 2.03 बजे मकर राशि में प्रवेश होगा. इस बीच सूर्योदय के बाद से मकर संक्रांति का पर्व आरंभ हो चुका है. राज्य के नदी घाटों पर सुरक्षा के लिए नदी के अंदर बांस-बल्ला से बैरिकेडिंग की गई है. बैरिकेड़िग पार करने से रोकने के लिए पुलिस की तैनाती की गई है. नदियों में नावों के परिचालन पर भी रोक लगाई गई है. घाटों पर सुरक्षा व बचाव के इंतजाम किए गए हैं.
पटना की बात करें तो मकर संक्रांति के अवसर पर गंगा के 14 घाटों पर 120 लाठीधारी व 49 महिला पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है. इसके अलावा 21 दंडाधिकारियों तथा 14 पुलिस अधिकारियों की भी प्रतिनियुक्ति की गई है. इसके बावजूद किसी अनहोनी को रोकने के लिए घाटों पर गोताखोर व बोट के साथ के साथ एनडीआरएफ व एसडीआरएफ की टीमें मौजूद हैं. वहां चिकित्सक और फायर बिग्रेड की तैनाती भी की गई है.
Input – Jagran
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